Blind date : Student-teacher love story Part -2
रीदा पूरी कोशिश करके उससे बचना चाहती थी और अरहान कुछ न कुछ करके उससे मिलना चाहता था । कभी कॉरीडोर में कभी असेंबली हॉल में तो कभी क्लास के बाहर दोनों आमने-सामने हुए, लेकिन हार बार रिदा अपनी गली बदल लेती, कभी किसी लड़की से बात करने लगती तो कभी इतनी तेज से बेसुरा गाने लगती की आसपास की लड़कियों का ध्यान उस पर चला जाता ।
अरहान को समझ ही नहीं आ रहा था कि उस बचकानी लड़की की तरफ वो क्यों खींच रहा है । रंग-रुप , आँखें-बाल ,होंठ-गाल, फैशन , ड्रेसिंग लगभग हर चीज की उसने माँ-बहन करके रखी हुई है फिर भी ऐसा क्या है जो उसे आकर्षक बना रहा है । अरहान इसी सोच में डूबा हुआ था की उसकी माँ उसके कमरे में आ गयी ।
हमने तुम्हारे लिए एक लड़की पसंद की है बहुत ही प्यारी बहुत ही सुंदर । उसका पेशा भी टीचिंग ही है ।
आप लोग को मुझसे पूछ तो लेना चाहिए था । अरहान ने माँ की गोद में नखरे दिखाते हुए कहा ।
क्यों कोई और पसंद है क्या ?
नहीं तो यार माँ आप भी !!
अगर पसंद हो तो हमें कोई ऐतराज नहीं है , हमें पसंद होगी वो भी ।
नहीं मेरी प्यारी माँ ।
तो कल काजल से मिल लो । कल संडे है तो दोनों लोगो की छुट्टी होगी ही ।
काजल… nice name!
Ops. … गलती से नाम बता दिया उसका दरअसल मैं चाहती थी की तुम दोनों कल की अपनी Blind date पर ही सबकुछ जानो एकदूसरे के बारे में ।
ओके बॉस हो जायेगा आपका काम । अब जाइये और आराम से सोइए । आपका बेटा Blind date वाली लड़की को आपकी बहू बनाकर जरूर लाएगा Good Night .
अरहान को भी लगता था कि उसकी शादी लायक उम्र तो हो ही चुकी है , गर्लफ्रेंड आजतक उसने बनाई नहीं, इसीलिए उसने Blind date पर जाने का फैसला कर लिया था।
एक अच्छे लड़के की तरह अपनी माँ के बताएं समय पर अरहान निकल चुका था लेकिन उसकी कुछ किस्मत ही खराब थी कि ट्रैफिक में फंस गया। जाम काफी लम्बा लगा था इसीलिए अपनी जिस Blind date पर उसे 3 बजे पहुँचना था वहाँ उसे पहुंचने में एक घंटे लेट हो गया । एक बड़ा सा बुके लेकर जब वो रेस्टोरेंट पहुँचा तो उसने देखा कि उसकी टेबल पर कोई नहीं था । उसे कोई जल्दी जल्दी से कुर्सी से हटकर जाते हुए दिखी पर वो कौन थी उसने ध्यान नहीं दिया ।

उसे लगा कि शायद लड़की भी अपने घरवालों की मर्जी से आयी होगी। इसीलिए उसने आराम से बैठ कर अपने लिए एक कप कॉफी मंगवाई । और कॉफी का इंतजार करते करते सोचने लगा की ये कौन थी जो इतनी जल्दी में थी की अपना पर्स ही यहाँ छोड़ कर चली गयी , कुर्सी पर एक जैकेट भी टंगी रह गयी थी।
थोड़ी देर उसको ध्यान से देखने के बाद अरहान ने वो जैकेट अपने हाथ में ले ली और रेस्टोरेंट के सिक्योरिटी रूम की तरफ चल दिया ।
रेस्टोरेंट का लम्बा-चौड़ा बिल पे करने के बाद वो भी बिना कुछ खाए, अरहान मुस्कुराता हुआ अपने पापा की कार में बैठ गया और निकल गया।
अरहान ने जल्दी-जल्दी से अपना टॉपिक ख़त्म किया और क्लास में ये बोल कर जाने लगा कि प्रिंसिपल सर से कुछ काम है उसे । गेट तक पहुँचते ही वापस पलटा और रिदा से बोला – Hey Tom boy! सभी स्टूडेंट्स के नोट्स मेरे केबिन में जाकर रख देना । मैं शाम तक जब निकलूँगा तो जाते वक्त घर लिए जाऊंगा। वहीं चेक करके कल वापस कर दूँगा आज, टाइम नहीं है मेरे पास।
Sorry Girls! और इतना कहकर वो वहाँ से चला गया।
कुछ लड़कियों को अरहान पर गुस्सा आयी, कुछ को रिदा पर लेकिन अपने गुस्से को दबाए कुछ बैग उठा कर चली गयीं और कुछ झुण्ड बनाकर बातचीत करने लगीं ।
रिदा ने सभी नोट्स टेबल पर रख दिये , उसकी नजर टेबल पर ही रखे बुके पर गयी जिसके फूल थोड़ा मुरझा गएँ थें लेकिन अच्छे लग रहे थें। पीले-सफेद-लाल-गुलाबी सभी तरह के गुलाब लगे हुए थे उसमें। उसने आसपास देखा उसे जब कोई नजर नहीं आया तो एक गुलाब तोड़ कर तुरंत मुँह में रख कर चबाने लगी। फिर एक साथ उसने 4-5 गुलाब तोड़ कर अपने ट्राउजर की जेब में रखे और जाने के लिए पलटी तो देखा गेट पर अरहान खड़ा था ।
उसकी जिंदगी के सबसे अक्वर्ड मोमेंट अरहान से ही क्यों जुड़े हुए है ? यही सोचती हुई वो जेब से गुलाब निकल कर वापस टेबल पर रखने लगी ।
तुम सच में किसी भी एंगल से लड़की तो नहीं लगती। अरहान जाकर अपनी चेयर पर बैठ गया । एक मिनट भागने की कोशिश तो बिल्कुल मत करना वरना प्रिंसिपल को जाकर बता दूँगा कि दिवार फांद कर जाने वाली जिस लड़की की तलाश वो कर रहें हैं वो तुम्हीं हो ।
रिदा वैसे ही रुक गयी और सर झुका कर खड़ी हो गयी ।
कल बहुत खूबसूरत लग रही थी तुम।
कौन…..मैं ? रिदा ने अपनी बादामी आँखें ऊपर उठा कर देखा।
वो तुम जल्दबाजी में मुझे देखते ही भाग गयी थी इसीलिए तुमको सामने से देख नहीं पाया तब सीसीटीवी वाले को 1000 रुपये देकर तुमको देखना पड़ा और वहीं से कुछ क्लिप्स लेकर तुम्हारी फोटोज निकलवाई थी देखना पसंद करोगी? ब्लैक एंड वाइट है लेकिन फिर भी उसमें तुम्हारे इस गोल चेहरे की खूबसूरती साफ नजर आ रही थी।
सर जैसा आप समझ रहें हैं वैसा कुछ नहीं हैं । मैंने आपकी Blind date नहीं खराब की। काजल का बॉयफ्रेंड हैं वो घर पर नहीं बताती है । मैं उसकी दोस्त हूँ इसीलिए उसने मुझसे हेल्प मांगी। बोली कि मुझे बस उसकी जगह जाकर किसी लड़के से मिलना है । मैं भी हर वक्त बंदिश में रह रह के परेशान हो चुकी थी और वहाँ का खाना भी अच्छा था तभी चली गयी थी। कसम से सर मुझे नहीं पता था कि उसकी Blind date आपके साथ fix है वरना कभी नहीं आती ।
उसने तो कहा था कि है कोई बस मिल लो जाकर । वो लड़का मुझे देखते ही रिजेक्ट कर देगा उसकी प्रॉब्लम भी सॉल्व हो जाएगी और मुझे भी बढ़िया खाने और घूमने को मिल जाएगा ।
क्या कहाँ था उसने कि कोई तुम्हें देखते ही रिजेक्ट कर देगा ! उसने खड़े होते हुए हैरानी से कहा।
जी !
और तुमने मान लिया ?
हाँ क्योंकि मैं वैसे भी किसी लड़के को पसंद नहीं आती क्योंकि लड़को जैसी ही दिखती हूँ न, और सच कहूं तो मुझे ये सब पसंद भी नहीं है ।
मैं मान लेता हूँ कि तुम्हारी हाईट 4.9 इंच तो होगी ही! मतलब की छोटी हो तुम हाईट से । लेकिन क्या हाईट की तरह तुम्हारा दिमाग़ भी छोटा है ? तुम्हें मालूम है कि अगर तुम्हारी दोस्त को तुम्हें रिजेक्ट करवाना ही होता तो तुम्हारी खूबसूरती को इतना इन्हांस करके न भेजती। तुम्हारी चेहरे की बनावट , आँखें गाल और रंग सबकुछ आइडियल है लेकिन कमाल की बात ये है कि सबको ये चीज मालूम है तुम्हें दिखती भी नहीं ।

कल तुम वाइट कलर की फुल्का डॉटेड फ्रॉक में बिल्कुल स्नो वाइट लग रही थी , तुम्हारे बाल भी उसने बहुत अच्छे तरीके से स्टाइल किये थे , 3 इंच की हील थी, कानों में मैचिंग इयरिंग और हाथ में घड़ी….कल Selena Gomez का who says you’re not perfect? Song तुम पर बिल्कुल फिट बैठ रहा था/ तुमको देख के कहीं से भी नहीं लग रहा था कि तुमको रिजेक्ट होने के लिए भेजा गया है। क्योंकि अगर ऐसा होता तो वो तुम्हें इसी फंकी लुक में भेजती। नाकि ऐसे की जो भी तुम्हें देखे बस फ़िदा हो जाएं ।
और जानती हो उसने ऐसा किया क्यों ? क्योंकि मेरी फैमिली वाले बहुत सीरियस है उसे लेकर और उसके घर वाले भी मुझे ही अपना दामाद बनाना चाहतें है। तो तुम्हारी दोस्त ने सोचा की तुम्हारी खूबसूरती के जाल में मुझे फंसा दे और खुद बचकर अपने बॉयफ्रेंड के साथ निकल जाए ।
उसके बेहेवियर से तो ऐसा नहीं लगा…!
मिस रिदा! तुम किसी का बेहेवियर पढ़ना भी जानती हो ? दूसरों का छोड़ो अपना ही जानती हो ? तुम्हारे पिता तुम्हें वक्त नहीं दे पाएं , 3 भाइयों ने तुम्हारी परवरिश की है तो उनका असर तुम पर आना लाज़मी है । लेकिन ऐसा भी मत करो की भूल जाओ कि तुम एक लड़की हो और लड़की होना किसी भी तरह से शर्म की बात नहीं है । अरहान केबिन में टहलने लगा।
अगर तुम्हें ऐसे अच्छा लगता है तो तुम ऐसे ही रहो लेकिन तुम तो इसलिए ऐसे रहती हो क्योंकि दूसरों को पसंद है । तुम्हारी दोस्तों ने बताया मुझे कि तुम्हारे पिता जी ने तुम्हें यहाँ पे इसलिए भेजा था ताकि तुम भी लड़कियों की तरह रहो लेकिन यहाँ आने के बाद तो तुम खुद को सच में लड़का मानने लगी बिना ये सोचे समझे कि ये लड़की तुम्हें अपना भाई बनाने के नाम पर मामू बना रही हैं तुम्हारा ।
कुछ तो ऐसी है जो जानती है खूबसूरती और स्टेटस दोनों में तुम उनसे आगे हो और अगर ये बात तुम्हें पता चल गयी तो हॉस्टल और कॉलेज दोनों जगह पे दो गैंग बन जाएंगे और उनका गैंग कमजोर ही रहेगा, इसीलिए सॉफ्ट तरीके से वो तुम्हें टैकल कर रहीं हैं । मुझे नहीं पता कि तुम्हारे पापा क्या है लेकिन टीचर के रूप में तुम्हारे दो बॉडीगार्ड, वॉर्डन की तुमपर खास नजर ये सब बातें उन्हें जरूर पता होंगी और उन्हें मालूम भी होगा कि तुम्हारे पापा क्या है ।
इसीलिए वो तुम्हारी मासूमियत का फायदा उठाकर रौब जमातीं हैं और पीठ पीछे तुम्हारा मजाक भी उड़ाती है । उसे समझाने के दौरान अरहान को लगा कि कुछ ज्यादा हो रहा है तो शांत होकर उसके बिल्कुल पास खड़ा हो गया । रिदा उससे दूर होना चाहती थी लेकिन उसके पैर जम से गएँ थें।
पता नहीं तुमसे किसने कहाँ है कि लड़कियाँ boy cut नहीं करा सकतीं , हॉस्टल की दिवार जम्प करके रेसलिंग का मैच देखने नहीं जा सकती अगर वो ये सब करतीं हैं तो इसका मतलब वो लड़की नहीं लड़का हैं । हर इंसान कई किरदार जीता है अपने अंदर जैसे मैं तुम्हारा टीचर हूँ लेकिन यहाँ एक दोस्त , एक एडवाइजर की तरह समझा रहा हूँ तुम्हें , और आगे का क्या पता की मैं क्या बन जाऊँ तुम्हारे लिए…. अरहान ने तुरंत अपनी बात संभाली। मेरा मतलब की टाइम के एकॉर्डिंग किरदार बदलते रहतें हैं ।
बस और क्या कहूँ तुम्हें जो अच्छा लगता है वही रहो लेकिन दूसरे के कहने पर कि तुम ऐसे नहीं वैसे अच्छी लगती हो प्लीज ये सब मत करो। और हाँ मुझे ये भी कहना था कि sorry उस दिन तुम्हें लड़का समझने के लिए । दरअसल थोड़ा अंधेरा भी था और दिवार एक लड़की भी जम्प कर सकती है ये मैंने सोचा नहीं था। अब तो अपने पैर की छोट के लिए मैंने तुम्हें माफ़ कर दिया है उम्मीद है तुम भी कर दोगी।
अच्छा अब तो ये बता दो कि उस दिन तुमने बताया क्यों नहीं कि तुम एक लड़की हो ?
रिदा ने कोई जवाब नहीं दिया बस नीचे ही देखती रही।
प्लीज बता भी दीजिये ।
मुझे लगा आप वॉर्डन को बुला लेंगे और उसके बाद बात डैड तक पहुंच जाएगी ।
शायद नहीं करता मैं ऐसा खैर अब जाओ और हो सके तो थोड़ा बचकर क्योंकि तुम कब मेरे केबिन में आयी और कब निकल रही हो इसी बात पर वो तुम्हें गलत समझ लेंगें । किसी और मामले में न सही लेकिन इस मामले में जरूर उनके लिए लड़की हो जाओगी।
एक मिनट और अरहान ने जाकर टेबल के नीचे से रिदा का हैंड बैग निकाला और उसे देते हुए बोला – कल मुझे देखते ही तुम सबकुछ छोड़ कर भाग गयी थी तो मैं यहाँ ले आया सबकुछ इसी में है सिवा उस कॉफी को जो टेबल पर आधी बची थी और उसे मैं पी गया था । कुछ रेस्लिंग मैच के टिकट्स भी है तो अगली बार जाना हो तो दिवार फांद कर मत जाना ,मुझे बता देना प्रिंसिपल सर से मैं बात कर लूँगा । अब तुम जाओ ।
रिदा अपना चेहरा एकदम झुकाये हुए थी बिना उसकी बात का जवाब दिए वो सर झुकाये ही चली भी गयी इसीलिए उसे पता भी नहीं चला कि केबिन के बाहर कोई खड़ा है।
अरहान थोड़ी देर खड़ा मुस्कुराता रहा फिर सारे नोट्स उठाकर अपने बैग में रखे और जैसे ही केबिन के बाहर निकला रुपाली खड़ी थी चार-पांच लड़कियों के साथ । पहले अरहान थोड़ा डरा कि इन लोगों ने उनकी बातें न सुन ली हो फिर बात को सामान्य रखने के लिए उसने खुद ही पूछ लिया – Girls, any problem? आप लोग रूम पर नहीं गएँ अभी तक ।
सर रिदा भी तो अभी-अभी गयी है हम भी अब चले जाएँगे आराम से । एक लड़की उसके सामने आकर खड़ी हो गयी।
हाँ लेकिन रिदा को मैं कुछ समझा रहा था आप लोगों को नहीं।
तो अब हमें भी बारी-बारी समझा दीजिये न सर दूसरी लड़की ने उसके कंधे पर हाथ रख दिया।
इतने लोगों को तो मैं क्लास में ही समझा पाऊंगा। उसने हाथ खुद पर से हटा दिया।
मुझे अकेले तो समझा सकते हो न प्रोफेसर ! रुपाली बोली।
हाँ लेकिन आज बिल्कुल नहीं किसी और दिन । कहकर अरहान उन्हें साइड करते हुए आगे निकल गया।
क्या है उस लड़की में लड़की जैसा ? उसके चक्कर में पड़ेंगे तो लोग आपको गे ही समझ लेंगे। रुपाली ने उसे पीछे से टोक दिया।
अगर मैं लोगों की सोचता तो आपको क्या लगता है इस गर्ल्स कॉलेज में पढ़ा रहा होता !
सोच लीजिए उसका बाप सुप्रीम कोर्ट में जज है उसके भाई मिलिट्री मे ,पॉलिटिक्स में और एक आईपीएस ….
पहली बात तो ये कि बाप आपका हो या मेरा बाप , बाप ही होता है तो रेस्पेक्ट से शब्द इस्तेमाल कीजिये उनके लिए और दूसरी बात कौन क्या है मुझे फर्क नहीं पड़ता वो अपनी मेहनत का खातें हैं और मैं अपनी मेहनत का । इतना कहकर अरहान वहाँ से निकल गया।
रिदा फिर से क्लास नहीं आयी तो अरहान को लगा कि वो उसकी बातों का बुरा मान गयी है । इसीलिए उसकी दोस्त का नंबर लेकर वो उसे sorry बोलना चाहता था लेकिन उसकी पोजीशन ने उसे ऐसा करने से रोक लिया ।
2 दिन के बाद जब रिदा उसे क्लास में दिखी तो सिर्फ वही नहीं पूरी क्लास रिदा को देखती रह गयी । रिदा ने ओवरसाइज्ड शर्ट की जगह टाइट टॉप पहना था ,
राजकपूर स्टाइल की पैंट की जगह ब्लैक स्कर्ट पहन रखी थी । कोई भी मेकअप नहीं था पहले के जैसे ही लेकिन बाकी चलने और बैठने की आदत में जरूर नजाकत आ गई थी। चेहरे पर अलग ही चमक थी और होठों पर हल्की सी मुस्कुराहट। रिदा क्लास में आते ही उस सीट पर नहीं बैठी जिस पर बैठती थी ,उसने अपनी सीट चेंज कर दी ।
उसे इस तरह देख कर अरहान के चेहरे पर जो मुस्कुराहट आई जो लाख छुपाने पर भी क्लास की सभी लड़कियों को नजर आ गई थी ।
क्लास की सभी लड़कियों के नोट्स वापस करते हुए उसने रिदा के नोट्स को दोबारा से चेक करने की एक्टिंग की । जब रिदा ने ले जाकर उसे खोला तो उस पर लिखा हुआ था – “Today ,you look very pretty and cute.”
रिदा ने उसे देख कर वापस अपने बैग में रख लिया बिना चेहरे पर कोई हावभाव लाए।
एक दो दिन इसी तरह का सिलसिला चला बाकी लड़कियां अगर अरहान को अपने नोट्स चेक करने को देती , तो रिदा भी अपने नोट्स सरका देती। वो जानता था कि बाकी लड़कियां उसकी अटेंशन के लिए रोज अपने नोट्स दिखाती है तो क्या रिदा भी..? और यही सोच कर अरहान उस पर कुछ न कुछ कॉम्प्लीमेंट लिख देता ।
कुछ दिन इसी तरह चलने के बाद अरहान ने कुछ सोचा और क्लास में आते ही बोला – जिसको भी अपने नोट्स दिखाने है वो क्लास शुरू होने के पहले ही जमा करके जाए, मैं यही देख कर वापस कर दूंगा और अगर कोई गलती हुई तो यही खड़े रहकर उसे सही भी करना होगा जब तक उसकी गलती सही नहीं होगी वो यही खड़ा रहेगा।
अरहान का इतना कहना था कि उसकी टेबल पर नोट्स के ढेर लगने शुरू हो गएं, जिनके रोज सही होते थें उन्होंने भी कुछ गलती करके अपनी नोटबुक अरहान के सामने रख दी ।
अरहान ने जल्दी-जल्दी से नोट्स देखने शुरू कर दिए , कुछ को बुला कर समझाने की एक्टिंग की दोबारा पूछा भी नहीं कि समझ आया या नहीं। कुछ गलती खुद ही सही कर देता , इसी क्रम में उसे उसे वो नोट बुक भी मिल गई जिसकी उसे तलाश थी ।
रिदा इधर आइए , ये क्या लिखा है आपने? उसने क्लास में तेजी से पुकारा। वो अपनी सीट से उठकर अरहान की चेयर के पास खड़ी हो गई ।
कहां सर? उसने अपनी कॉपी पर पेज पलट कर देखा । उसने जैसे ही डेस्क पर अपनी कॉपी का पेज पलट वैसे ही अरहान ने उसके हाथ के ऊपर अपना हाथ रख के उसके हाथ को दबा दिया। रिदा को करेंट जैसा महसूस हुआ और वो डर कर उधर उधर देखने लगी। उसने देखा कि उन दोनों के हाथ के आगे नोट बुक्स रखी हुई थी इसीलिए सामने बैठा कोई भी इंसान नहीं जान सकता कि अरहान रिदा का हाथ दबाए हुए है ।
क्या हुआ ? उसने नोट्स चेक करते हुए धीमे से पूछा।
कुछ नहीं सर।
तो कांप क्यों रही हो?
नहीं तो ।
तो अच्छे से खड़ी रहो । उसने उसका हाथ को थोड़ा और प्रेस करते हुए कहा ।
जी… अब रिदा की आवाज भी कांपने लगी थी।
चलोगी?
क..कहां?
अपनी किसी दोस्त की साइड से Blind date पर!
सर क्लास चल रही है ।
अच्छा कौन पढ़ा रहा है ? मैं तो तुमसे बातें कर रहा हूं।
सब देख रहीं हैं ।
अरहान ने पूरी क्लास की तरफ नजर दौड़ाई और फिर उसका हाथ हल्के से दबा कर छोड़ दिया।
आगे से ध्यान रखना ऐसी गलती न होने पाए, ये सब पढ़ाया है मैने । उसने उसके नोट बुक पर अपना नंबर लिखते हुए कहा ।
बाकी सबकी कॉपी जल्दी से चेक करके बाकी बची कॉपी अरहान घर लेकर चला गया ।
अरहान दिन में 10 बार अपना फोन चेक करता लेकिन उसे कोई नंबर आया गया नहीं दिखता । क्लास में भी रिदा बात करने का कोई मौका नहीं देती ।
एक दिन जब वो प्रिंसिपल ऑफिस एक फाइल लेने गया था तो रिदा उसे प्रिंसिपल से बात करती हुई दिखाई दी। अरहान ऑफिस के बाहर कॉरिडोर में टहलते हुए उसका इंतजार करने लगा । जैसे ही रिदा उधर से जाती हुई दिखाई दी अरहान ने उसे पकड़ कर अंदर की तरफ खींच लिया और सीढ़ियों की तरफ ले आया।
सर आप ये क्या कर रहे है ?
Post graduation कर रही हो फिर भी मुझसे पूछ रही हो कि मैं क्या कर रहा हूँ।
सर चलिए यहां से कोई देख लेगा तो…
पहले मेरे सवाल का जवाब दो ।
कौन सा सवाल….?
यही की Blind date न सही एक सिंपल डेट तो हो ही सकती है , अगर इजाजत दो तो ?
अभी सोचा तो नहीं..?
Blind date पर आने से पहले तो इतना नहीं सोचा था अब तो अच्छे से जानती भी हो मुझे ।
बाद में देखते है । कहकर रिदा जाने को हुई तो अरहान ने उसे अपने सीने से लगा लिया और बोला – क्यों मजबूर करती हो मुझे ये भूल जाने के लिए की मैं तुम्हारा टीचर हूँ।”

अरहान….! रिदा ने आहिस्ते से पुकारा।
Oh God! चलो नाम तो लिया मेरा।
फोन पर बताऊंगी ।
वो तो तुम करोगी नहीं ।
रिदा ने उसकी टाई पकड़ के उसे झुकाया और उसके कान में अपना नंबर बोल कर भाग गई। अरहान तो बालों में हाथ फेरता हुआ सीढ़ियों के सहारे खड़ा ही रह गया।
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